1 अप्रैल 2025 से बदलेंगे ATM, UPI, बैंकिंग और टैक्स नियम – जानें नया चार्ज और जरूरी बदलाव!

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नई दिल्ली: 1 अप्रैल 2025 से नए वित्तीय वर्ष की शुरुआत के साथ ही बैंकिंग और टैक्स नियमों में कई महत्वपूर्ण बदलाव होने जा रहे हैं। यदि आप समय रहते इन नियमों की जानकारी नहीं लेंगे, तो आपको अतिरिक्त शुल्क और आर्थिक नुकसान का सामना करना पड़ सकता है।

बैंकिंग से जुड़े बड़े बदलाव

1. एटीएम निकासी पर नया शुल्क

अब से दूसरे बैंक के एटीएम से केवल तीन बार मुफ्त निकासी की अनुमति होगी। इसके बाद प्रत्येक ट्रांजैक्शन पर ₹20 से ₹25 का अतिरिक्त शुल्क लगेगा।

2. बचत खाते में न्यूनतम बैलेंस बढ़ा

बैंकों ने बचत खाते के लिए न्यूनतम बैलेंस की सीमा बढ़ा दी है। यदि आपके खाते में आवश्यक न्यूनतम बैलेंस नहीं हुआ, तो आपको जुर्माना भरना पड़ सकता है।

3. पॉजिटिव पे सिस्टम लागू

₹50,000 से अधिक राशि के चेक जारी करने पर पहले बैंक को सूचित करना अनिवार्य होगा। इससे चेक धोखाधड़ी पर लगाम लगेगी।

4. निष्क्रिय UPI खाते होंगे बंद

यदि आपका UPI खाता लंबे समय से निष्क्रिय है, तो बैंक उसे बंद कर सकता है। इससे यूपीआई लेन-देन प्रभावित हो सकते हैं, इसलिए समय-समय पर UPI का उपयोग करें।

5. क्रेडिट कार्ड रिवॉर्ड्स में कटौती

SBI और IDFC First Bank जैसे कई बैंकों ने क्रेडिट कार्ड रिवॉर्ड पॉइंट्स और अन्य लाभों में कटौती की घोषणा की है।

टैक्स से जुड़े बड़े बदलाव

1. नया टैक्स सिस्टम डिफॉल्ट होगा

अब से नया टैक्स सिस्टम (जिसमें कम टैक्स स्लैब हैं लेकिन कोई कटौती नहीं) डिफॉल्ट रहेगा। यदि आप पुरानी कर प्रणाली (80C छूट) का लाभ लेना चाहते हैं, तो आपको इसे अलग से चुनना होगा।

2. PAN-आधार लिंकिंग अनिवार्य

यदि आपका PAN और आधार लिंक नहीं है, तो डिविडेंड और कैपिटल गेन पर अधिक TDS कटेगा और टैक्स रिफंड में देरी हो सकती है।

3. म्यूचुअल फंड और डीमैट KYC अनिवार्य

SEBI के नए नियमों के अनुसार, निवेशकों को अपने KYC और नॉमिनी विवरण को अपडेट करना होगा। अन्यथा, डीमैट खाता फ्रीज किया जा सकता है।

4. वरिष्ठ नागरिकों के लिए FD ब्याज पर TDS छूट

अब वरिष्ठ नागरिकों के लिए एफडी या आरडी से प्राप्त ₹1,00,000 तक के ब्याज आय पर TDS नहीं लगेगा, जो पहले ₹50,000 तक था।

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नए नियमों से बचने के लिए क्या करें?

  • अपने बैंक खाते और क्रेडिट कार्ड की शर्तों को दोबारा जांचें।
  • यदि आप पुराने टैक्स सिस्टम में रहना चाहते हैं, तो जल्द ही इसकी प्रक्रिया पूरी करें।
  • PAN-आधार लिंकिंग की स्थिति की जांच करें और जरूरत हो तो इसे अपडेट करें।
  • अपने डीमैट और म्यूचुअल फंड KYC को अपडेट करना न भूलें।

1 अप्रैल 2025 से लागू होने वाले ये बदलाव आपके वित्तीय जीवन को प्रभावित कर सकते हैं। इसलिए, अभी से इन नियमों के अनुसार अपनी वित्तीय योजनाएं तैयार करें, ताकि आपको किसी भी परेशानी का सामना न करना पड़े।

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